मशहूर इंफ्लुएंसर कर्ली टेल्स के साथ करोड़ो का प्रोजेक्ट. नियमों को दरकिनार कर फायदा पहुंचाने की कोशिश और महीनों बाद पूरी की गई कागजी कार्रवाई तमाम गड़बड़ियों का इशारा करती है.
साल 2024 के लोकसभा चुनाव से कुछ महीने पहले भारत सरकार की सड़क, रेलवे और विमानन क्षेत्र की उपलब्धियों का प्रचार करने के लिए प्रसार भारती ने एक बड़ा प्रोजेक्ट शुरू किया. इसके लिए तीन मंत्रालयों (सड़क, रेलवे और एविएशन) से बजट मिलना था. प्रोड्यूसर को कुछ शानदार और धारदार डॉक्यूमेंट्री फिल्में बनानी थीं, विज्ञापन बनाने थे और इस सबके लिए एक सेलिब्रिटी एंकर भी चुनी गई थी. सबकुछ इतना सीधा-सादा था
लेकिन बाद में यह कहानी उतनी सीधी-सादी नहीं रही.
मार्च, 2024 में डीडी नेशनल पर ‘इंडिया इन मोशन’ नाम की डॉक्यूमेंट्री सीरीज़ का प्रीमियर हुआ. सरकार की सड़कों, रेल और एविएशन सेक्टर की उपलब्धियों का बखान करते इन वीडियोज़ में सेलिब्रिटी एंकर, ट्रैवल इंफ्लुएंसर कामिया जानी दिख रही थीं. जिनको आपने अक्सर नेताओं-अभिनेताओं के साथ खाने के बहाने ‘इंटरव्यू’ करते देखा होगा.
रिलीज के कुछ घंटों की भीतर ये एपिसोड कामिया जानी के यूट्यूब चैनल ‘कर्ली टेल्स’ और ‘मैशेबल इंडिया’ के यूट्यूब चैनलों पर भी दिखने लगे. इसके बाद खींचतान, आपत्तियों की एक लंबी श्रृंखला शुरू हुई, जिसमें कॉन्ट्रैक्ट की शर्तों का उल्लंघन और अंत में प्रसार भारती द्वारा ‘चुपचाप समझौता’ कर लेना नज़र आता है.
ये कहानी दो मीडिया कंपनियों के इर्द-गिर्द घूमती है, जिसमें कामिया जानी के पति समर वर्मा की अहम भूमिका है. साथ में प्रसार भारती के ऐसे फैसले हैं, जिन्हें देखकर सवाल उठता है कि क्या देश का पब्लिक ब्रॉडकास्टर निजी प्रोडक्शन कंपनियों के सामने कमजोर पड़ गया है या फिर जानबूझ कर उन्हें फायदा पहुंचाने का काम करता रहा?
जैसे-जैसे हम इस कहानी के अंदर घुसते हैं, ‘इंडिया इन मोशन’ प्रोजेक्ट की कहानी उत्तरोत्तर उलझती जाती है.

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