इस हादसे का शिकार केवल वही लोग नहीं हुए जो उस विमान में सवार थे बल्कि विमान गिरते ही बहुत से लोग इसकी ज़द में आ गए.
12 जून को गुजरात के अहमदाबाद में उड़ान भरने के एक मिनट बाद ही एयर इंडिया का विमान हादसे का शिकार हो गया. उसमें सवार 242 यात्रियों और क्रू मेंबर्स में से 241 की मौत हो गई. बचा एक अकेला शख़्स…
इस हादसे का शिकार केवल वही लोग नहीं हुए जो उस विमान में सवार थे बल्कि विमान गिरते ही बहुत से लोग इसकी ज़द में आ गए. इन लोगों में से कोई आधार कार्ड ठीक कराने आया था, कोई नौकरी से वापस लौट रहा था तो कोई नौकरी पर जा रहा था. वहीं जिस मेस के ऊपर विमान गिरा दोपहर के उस समय कुछ लोग खाना खा रहे थे तो कुछ खाना बनाने में लगे थे और कुछ पीड़ित अपनी-अपनी झुग्गियों में मौजूद थे.
यह कहानी उन मृतकों की है, जो एयर इंडिया विमान के यात्री नहीं थे.
हर शाम सिविल अस्पताल प्रशासन की तरफ प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जानकारी दी जाती है कि कितने लोगों का डीएनए मैच हुआ. कितने शव, परिजनों को सौंपे गए. कितने अभी सौंपे जाने हैं . 19 जून को न्यूज़लॉन्ड्री ने जब उन मृतकों की जानकारी मांगी जो यात्री नहीं थे तो प्रेस कॉन्फ्रेंस कर रहे डॉक्टर जोशी ने कुल 17 लोगों के मरने की बात कही.
यह लोग कौन थे, कैसे इस हादसे की चपेट में आए? हम कुल नौ मृतकों के परिवारों और रिश्तेदारों से मिले. इसके आलावा मरने वालों में चार बीजे मेडिकल कॉलेज के छात्र, अपने दोस्त से मिलने आए एक अन्य डॉक्टर और तीन डॉक्टर्स के आवास में मौजूद अन्य लोग शामिल हैं.
19 जून तक के आंकड़ों के अनुसार 215 मृतकों के डीएनए मैच हुए हैं. ऐसे में विमान गिरने से घटनास्थल पर मौजूद चपेट में आए लोगों की यह संख्या जो अभी 17 है, आने वाले दिनों में और बढ़ भी सकती है.
देखिए रिपोर्ट -