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दिल्ली सरकार की मीडिया मॉनिटरिंग रिपोर्ट: अखबारों में 67% पॉजिटिव तो 23% नेगेटिव ख़बरें
15 जून की शाम को दिल्ली सरकार से जुड़े पत्रकारों के व्हाट्सग्रुप में एक पीडीएफ डॉक आया. जल्द ही भेजने वाले ने उसे डिलीट भी कर दिया लेकिन इस बीच डाउनलोड हो चुका था. यह दस्तावेज दिल्ली सरकार के सूचना एवं प्रसार निदेशालय (डीआईपी) द्वारा तैयार एक आंतरिक रिपोर्ट थी. जो बता रही थी कि सरकार हर दिन न सिर्फ मीडिया के कामकाज की समीक्षा कर रही है बल्कि उसे नेगेटिव, पॉजिटिव और न्यूट्रल कवरेज की तरह श्रेणीबद्ध भी कर रही है.
रिपोर्ट में हरेक खबर के साथ दो कॉलम बनाए गए हैं. जिनमें पहले कॉलम में नेता या राजनीतिक दल के प्रति समाचार का झुकाव और दूसरे में खबर छापने वाले मीडिया संस्थान का नाम शामिल है.
15 जून की इस रिपोर्ट को 6 भागों में विभाजित किया गया है. पहला हिस्सा मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता से संबंधित कवरेज का है. दूसरे हिस्से में दिल्ली सरकार से संबंधित कवरेज का विवरण हैं. तीसरे भाग में उन खबरों को रखा गया है जिसमें भारतीय जनता पार्टी के नेता विपक्षी दलों पर निशाना साध रहे हैं. वहीं, चौथे हिस्से में सार्वजनिक महत्व के मुद्दों से संबंधित कवरेज का विवरण दर्ज है. पांचवें हिस्से में विपक्ष और छठवें हिस्से में राष्ट्रीय मुद्दों की कवरेज शामिल है.
रिपोर्ट में दर्ज प्रिंट मीडिया की कवरेज का विवरण
इस रिपोर्ट में प्रमुख हिंदी और अंग्रेजी अख़बारों में छपीं कुल 139 ख़बरों का विश्लेषण दर्ज है. इसके मुताबिक, 93 ख़बरें सरकार के प्रति सकारात्मक तो 32 खबरें ऐसी थीं जो नकारात्मक रुख वाली थी. बाकी बची 14 ख़बरें सिर्फ सूचना दे रही थीं, उन्हें न्यूट्रल यानि तटस्थ कहा गया है. प्रतिशत के लिहाज से कहें तो अखबारों में करीब 67 प्रतिशत ख़बरें सकारात्मक और 23 प्रतिशत ख़बरें नकारात्मक कैटेगरी की प्रकाशित हुईं. वहीं, 10 प्रतिशत ख़बरें न्यूट्रल रहीं.
इस रिपोर्ट के मुताबिक, हरिभूमि अख़बार ने कुल 12 ख़बरें प्रकाशित कीं, जिनमें 10 सकारात्मक और 2 नकारात्मक थीं. अमर उजाला ने 10 ख़बरें छापीं, जिनमें 8 सकारात्मक और 2 नकारात्मक थीं. दैनिक जागरण से कुल 10 ख़बरें आईं, जिनमें 5 सकारात्मक, 4 नकारात्मक और 1 न्यूट्रल रही. हिंदुस्तान अख़बार की 10 ख़बरों में से 8 सकारात्मक, 1 नकारात्मक और 1 तटस्थ थीं. इसी तरह नवभारत टाइम्स ने कुल 9 ख़बरें प्रकाशित कीं, जिनमें 6 सकारात्मक और 3 नकारात्मक थीं.
पंजाब केसरी ने 7 ख़बरें दीं, जिनमें 6 सकारात्मक और 1 नकारात्मक. नवोदय टाइम्स की 9 ख़बरों में से 6 सकारात्मक, 1 नकारात्मक और 2 तटस्थ रहीं. जनसत्ता की कुल 7 ख़बरों में 3 सकारात्मक और 4 नकारात्मक थीं. दैनिक भास्कर की 2 ख़बरों में 1 सकारात्मक और 1 नकारात्मक थी. आज समाज ने कुल 8 ख़बरें प्रकाशित कीं, जिनमें 3 सकारात्मक, 4 नकारात्मक और 1 तटस्थ थी.
अंग्रेजी अखबारों की बात करें तो इंडियन एक्सप्रेस ने 9 ख़बरें प्रकाशित कीं, जिनमें 6 सकारात्मक, 2 नकारात्मक और 1 तटस्थ थीं. हिंदुस्तान टाइम्स से कुल 7 ख़बरें आईं, जिनमें 5 सकारात्मक, 1 नकारात्मक और 1 तटस्थ मानी गई. इसी तरह पायनियर की 6 ख़बरों में 5 सकारात्मक और 1 तटस्थ थी, कोई नकारात्मक ख़बरें नहीं थी. द स्टेट्समैन की 6 ख़बरों में 4 सकारात्मक और 2 नकारात्मक थीं. टाइम्स ऑफ इंडिया से 12 ख़बरें आईं, जिसमें 5 सकारात्मक, 3 नकारात्मक और 4 तटस्थ मानी गईं.
वहीं, द हिंदू की केवल 2 ख़बरें सामने आईं और दोनों सकारात्मक थीं. एशियन एज ने कुल 3 सकारात्मक ख़बरें दीं, कोई नकारात्मक या तटस्थ ख़बरें नहीं थी. मिलेनियम पोस्ट की सभी 3 ख़बरें सकारात्मक थीं. मॉर्निंग स्टैंडर्ड की 3 ख़बरों में 1 सकारात्मक, 1 नकारात्मक और 1 तटस्थ थी. ट्रिब्यून से केवल 1 ख़बरें आई, जो तटस्थ थी.
आंकड़ों से साफ है कि ज्यादातर अख़बारों ने सकारात्मक रुख़ अपनाया, जबकि कुछ थोड़ी आलोचनात्मक ख़बरें प्रकाशित कीं.
सबसे पॉजिटिव कौन?
हिंदी अखबारों की बात करें तो हरिभूमि अख़बार की ओर से कुल 12 ख़बरें इस रिपोर्ट में दर्ज हैं. जिनमें 10 सकारात्मक रुख वाली हैं. इसके बाद अमर उजाला और हिंदुस्तान की 8-8 ख़बरें तो नवभारत टाइम्स, पंजाब केसरी और नवोदय टाइम्स की 6-6 ख़बरों को यहां पॉजिटिव वाली कैटेगरी में जगह मिली है. वहीं, दैनिक जागरण की ओर से 5, जनसत्ता और आज समाज की 3-3 ख़बरें पॉजिटिव कैटेगरी में दर्ज है. दैनिक भास्कर की एक ख़बर पॉजिटिव कैटेगरी में दर्ज है.
अंग्रेजी अखबारों की बात की जाए तो इंडियन एक्सप्रेस की सबसे ज्यादा 6 ख़बरें इस रिपोर्ट का हिस्सा हैं. वहीं, हिंदुस्तान टाइम्स, टाइम्स ऑफ इंडिया और पायनियर की भी 5-5 ख़बरें पॉजिटिव कैटेगरी में दर्ज हैं. इसी तरह द स्टेट्समैन की 4, एशियन एज और मिलेनियम पोस्ट की 3-3 ख़बरें तो द हिंदू की 2 रिपोर्टें पॉजिटिव रुख वाली हैं. मॉर्निंग स्टैंडर्ड की ओर से सिर्फ 1 पॉजिटिव ख़बर इस रिपोर्ट इसका हिस्सा है.
सबसे नेगेटिव कौन?
इस रिपोर्ट के मुताबिक, सबसे अधिक नकारात्मक रिपोर्टिंग तीन हिंदी अख़बारों से आई. आज समाज, जनसत्ता और दैनिक जागरण की 4-4 ख़बरें नेगेटिव कैटेगरी में दर्ज की गईं. वहीं, नवभारत टाइम्स से 3, हरिभूमि और अमर उजाला से 2-2 ख़बरें तो हिंदुस्तान, नवोदय टाइम्स, पंजाब केसरी और दैनिक भास्कर की 1-1 ख़बर नेगेटिव कैटेगरी में दर्ज है.
अंग्रेजी अखबारों की बात करें तो टाइम्स ऑफ इंडिया के नाम सबसे अधिक 3 ख़बरें नेगिटिव श्रेणी में दर्ज हैं. इसके अलावा स्टेट्समैन और इंडियन एक्सप्रेस के नाम 2-2 ख़बरें नेगिटव कैटेगरी में दर्ज हैं. वहीं, हिंदुस्तान टाइम्स और मॉर्निंग स्टैंडर्ड के नाम 1-1 रिपोर्ट नेगेटिव कैटेगरी में दर्ज है.
क्या कहते हैं दिल्ली सरकार के अधिकारी?
इस बारे में जब हमने डीआईपी में अधिकारी कपिल से बात करने की कोशिश की. उन्होंने हमें इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी. ऐसे में हमने उन्हें लिखित में कुछ सवाल भेजे हैं, अगर उनका कोई जवाब आता है तो उसे इस ख़बर में शामिल किया जाएगा.
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