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कांग्रेस दफ्तर में घुसी दिल्ली पुलिस, पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ-साथ पत्रकारों से की गई बदसलूकी

कांग्रेस नेता राहुल गांधी से लगातार तीसरे दिन बुधवार को भी प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के अधिकारियों ने पूछताछ की. इस दौरान 24 अकबर रोड स्थित कांग्रेस पार्टी के मुख्यालय के बाहर विरोध प्रदर्शन हुआ. जिसमें पार्टी के बड़े नेता और कार्यकर्ता शामिल हुए. हालांकि इस विरोध प्रदर्शन को सोमवार और मंगलवार की तरह ही बुधवार को भी दिल्ली पुलिस ने इजाजत नहीं दी.

बुधवार को दिल्ली पुलिस ने कांग्रेस दफ्तर के बाहर विरोध कर रहे कांग्रेस कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले लिया. हिरासत के विरोध में छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल और कांग्रेस नेता अधीर रंजन चौधरी धरने पर बैठ गए.

कांग्रेस की महिला सांसद और सचिन पायलट को भी दिल्ली पुलिस ने हिरासत में ले लिया. वहीं यूथ कांग्रेस के अध्यक्ष बीवी श्रीनिवास को हिरासत में लेने के दौरान एक पुलिसकर्मी उन्हें लात मारते हुए दिखाई दिए. इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है.

काग्रेस दफ्तर के अंदर पार्टी कार्यकर्ता जब नारेबाजी कर रहे थे तब दिल्ली पुलिस ने उन्हें भी अंदर घुसकर हिरासत में ले लिया.

मौके पर मौजूद एचडब्ल्यू की पत्रकार स्वर्णा झा बताती हैं, “धारा 144 लागू होने के कारण कार्यकर्ता गेट पर प्रदर्शन करने लगे और कुछ पार्टी दफ्तर के अंदर प्रदर्शन कर रहे थे. उन्हें हिरासत में लेने के लिए पुलिस अंदर घुस आई. इस दौरान वहां मौजूद कुछ पत्रकारों के साथ भी धक्का-मुक्की हुई.”

कांग्रेस प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने पार्टी दफ्तर में पुलिस के घुसने का वीडियो सोशल मीडिया पर शेयर किया. वीडियो में दिख रहा है कि पुलिस कार्यकर्ताओं को हिरासत में ले रही है.

शेयर किए गए वीडियो में कई पत्रकार मौके पर दिखाई दे रहे हैं. स्वर्णा झा के मुताबिक, “कार्यकर्ताओं के साथ पुलिस वहां खड़े पत्रकारों को भी पकड़ने लगी. इस दौरान टीवी-9 के पत्रकार विक्रांत सिंह और सुबह-सवेरा के पत्रकार अजीत झा के साथ धक्का-मुक्की की गई. इसके बाद अन्य मीडियाकर्मियों ने पुलिस से सवाल पूछना शुरू कर दिया. उसके बाद पुलिस पीछे हट गई.”

मौके पर मौजूद एक अन्य पत्रकार नाम नहीं छापने की शर्त पर कहते हैं, “पुलिस मुझे भी पकड़ने लगी, तब मैंने उन्हें बताया कि मैं पत्रकार हूं, और अपना माइक आईडी दिखाया तब उन्होंने मझे छोड़ा. पत्रकार अजीत झा के पास आईडी नहीं होने के कारण पुलिस उन्हें पकड़कर गेट के आगे लेकर चली गई. हालांकि बाद में पुलिस ने उन्हें छोड़ दिया.”

वह आगे कहते हैं, “यह पहली बार देखा गया कि सीनियर नेताओं के साथ पुलिस इस तरह से बदसलूकी कर रही है. सड़क पर महिला सांसद को घसीटा गया. हालांकि पत्रकारों के साथ तो धक्का-मुक्की होती रहती है, लेकिन पुलिस ने किसी पत्रकार को हिरासत में नहीं लिया.”

पत्रकार अजीत झा कहते हैं, “पार्टी दफ्तर के अंदर पुलिस के घुसने पर मैंने सवाल किया तो पुलिस के एक अधिकारी डराते हुए बोले कि जो बाहर उल्लंघन करके भागेगा उसे पकड़ने के लिए अंदर घुसेगें. इसके बाद कुछ पुलिसकर्मी मेरा हाथ-पैर पकड़कर बाहर ले गए.”

वह कहते हैं, “मैंने पुलिस से यह बताते हुए सवाल किया कि मैं मीडिया से हूं, ताकि उन्हें न लगे की मैं कांग्रेस का कार्यकर्ता हूं. फिर भी उन्होंने मुझे पकड़ लिया. हालांकि बाद में जब अन्य मीडियाकर्मी आ गए तो सीनियर अधिकारी के इशारे पर पुलिस वहां से पीछे हट गई.”

दिल्ली पुलिस झूठ बोल रही है?

कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला ने दिल्ली पुलिस द्वारा पार्टी दफ्तर के अंदर घुसने पर ट्वीट करते हुए कहा कि कांग्रेस पार्टी इसके विरोध में गुरुवार को देशभर में राजभवनों का घेराव करेगी. साथ ही उन्होंने इस मामले में जांच की भी मांग की है.

पार्टी दफ्तर में घुसने का वीडियो वायरल होने के बाद दिल्ली पुलिस के स्पेशल सीपी (लॉ एंड आर्डर) एसपी हुड्डा ने मीडिया से बात की. उन्होंने पार्टी दफ्तर में घुसने की बात से इंकार कर दिया. उन्होंने कहा, “कांग्रेस दफ्तर के पास कई लोगों ने पुलिस पर बैरिकेड फेंके, ऐसे में कुछ धक्का मुक्की हुई होगी लेकिन पुलिस कांग्रेस दफ्तर के अंदर नहीं घुसी और न ही लाठीचार्ज किया. पुलिस किसी भी प्रकार का बल प्रयोग नहीं कर रही है. हम उनसे सहयोग की अपील कर रहे हैं.”

पत्रकार आगे कहते हैं कि इस घटना के बाद पार्टी ऑफिस के गेट पर अधीर रंजन चौधरी, केसी वेणुगोपाल ने पुलिस की कार्रवाई का विरोध किया. साथ ही सवाल किया कि धारा 144 बाहर लागू है पार्टी दफ्तर के अंदर नहीं, तो फिर पुलिस अंदर आकर कैसे हिरासत में ले सकती है?

वह पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाते हुए कहते हैं, ”धारा 144 के तहत किसी के घर के अंदर जाकर आप गिरफ्तार नहीं कर सकते. वही नियम यहां भी लागू होता है.”

न्यूज़लॉन्ड्री से बात करते हुए दिल्ली पुलिस के ज्वाइंट सीपी एके सिंह कहते हैं, “कुछ कार्यकर्ताओं ने पुलिस पर बैरिकेड फेंका, इसके बाद वह पार्टी दफ्तर के अंदर चले गए. पुलिस सिर्फ उन लोगों को ही हिरासत में लेने के लिए अंदर गई. वहां पत्रकारों के साथ धक्का-मुक्की जैसी किसी घटना के बारे में मुझे जानकारी नहीं है.”

उन्होंने आगे कहा, “पत्रकारों पर किसी भी तरह की रोक नहीं है न ही उन्हें हिरासत में लिया गया. सिर्फ कांग्रेस पार्टी के कार्यकर्ताओं को रोका गया.”

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